हाँ, आप कर सकते हैं!

वैश्विक आध्यात्मिक महोत्सव में दाजी ने विश्व शांति लाने की अपनी परिकल्पना के बारे में बताते हुए कहा कि इसे व्यक्तिगत शांति के माध्यम सेसहकारी परियोजनाओं के माध्यम से तथा मतभेदों को दूर करने व प्रगति लाने के लिए संगठित रहने के माध्यम से साकार किया जा सकता है।

स्वामी विवेकानंद जी का विभिन्न मार्गों और अनुयायियों को एक साथ लाने का सपना इस विशेष क्षण में हममें से बहुतों ने समझा है। अब जब हम सभी एक साथ आए हैं तो यह सिर्फ़ शुरुआत है। अब इसके बाद हम क्या करें? इस सभा का उद्देश्य क्या है? हमारा लक्ष्य बहुत स्पष्ट है - व्यक्तिगत शांति के माध्यम से प्रत्येक समुदाय में सामंजस्य लाना ताकि हम वैश्विक शांति के लिए आवश्यक क्षमता विकसित कर सकें।

ऐसी कोई जादुई छड़ी नहीं है जो एक ही झटके में शांति और वैश्विक सामंजस्य के स्तर को बदल सके। भगवान श्रीकृष्ण इसे प्राप्त नहीं कर सके; हममें से कोई भी इसे अकेले प्राप्त नहीं कर सकता। सबसे पहले, हम सभी को एक साथ व्यक्तिगत रूप से काम करना होगा - एक समय पर एक हृदय। इसके बाद, हम सभी मिलकर कुछ परियोजनाएँ शुरू कर सकते हैं। उन परियोजनाओं को साथ मिलकर कर सकते हैं, उन परियोजनाओं को लागू कर सकते हैं और दुनिया भर में उन परियोजनाओं को सफलतापूर्वक पूरा कर सकते हैं।


जब हम एक साथ काम करेंगे तब हम अपने मतभेदों को भी दूर कर पाएँगे और यही प्रगति का संकेत होगा। एक साथ काम करना एक छोटी सी शुरुआत का अगला कदम है। उससे अगला कदम एक साथ बढ़ना है। जब हम एक लंबे समय तक साथ काम करने के इन रिश्तों को बनाए रखेंगे तब हम देखेंगे कि एक साथ आने का यह छोटा सा कदम कैसे विकसित होता है।


जब जैन धर्म, बौद्ध धर्म, सिख धर्म, इस्लाम, ईसाई धर्म, यहूदी धर्म, हिंदू धर्म, ट्रांसेंडेंटल मेडिटेशनब्रह्मकुमारी, हार्टफुलनेस और सभी परंपराओं के स्वयंसेवक एक साथ काम करेंगे तब हम एक-दूसरे के मन, हृदय और भावनाओं को समझ पाएँगे। जब हम एक साथ काम करेंगे तब हम अपने मतभेदों को भी दूर कर पाएँगे और यही प्रगति का संकेत होगा। एक साथ काम करना एक छोटी सी शुरुआत का अगला कदम है। उससे अगला कदम एक साथ बढ़ना है। जब हम एक लंबे समय तक साथ काम करने के इन रिश्तों को बनाए रखेंगे तब हम देखेंगे कि एक साथ आने का यह छोटा सा कदम कैसे विकसित होता है। यह हमारे युवाओं के लिए विशेष रूप से महत्वपूर्ण है।

जब विभिन्न मतों के लोग साथ मिलकर साधारण चीज़ें करते हैं जैसे पेड़ लगाना, गाँवों में जाकर बच्चों को शिक्षा का महत्व समझाना, किसानों को फसल उत्पादकता दोगुनी करने का तरीका सिखाना, छोटे बच्चों की सहज क्षमताओं को बढ़ाना तब बहुत सारी चीज़ें हासिल की जा सकती हैं।

यह सम्मेलन सिर्फ़ दार्शनिक विचारों के आदान-प्रदान के लिए नहीं है; इसका मुख्य उद्देश्य एक साथ मिलकर प्रेम का संदेश फैलाना है। अन्यथा, ऐसे सम्मेलन बस होते ही रहेंगे।

वास्तव में, हमने ऐसा सम्मेलन कब किया था? मुझे याद नहीं आता कि हाल के दिनों में ऐसा कभी हुआ हो और हम संस्कृति मंत्रालय के प्रति आभारी हैं कि वे इतने सारे समूहों को एक साथ लाए ताकि एक-दूसरे के प्रति भाईचारा, प्रेम और करुणा को बढ़ावा मिले।


जब विभिन्न मतों के लोग साथ मिलकर साधारण चीज़ें करते हैं जैसे पेड़ लगानागाँवों में जाकर बच्चों को शिक्षा का महत्व समझानाकिसानों को फसल उत्पादकता दोगुनी करने का तरीका सिखानाछोटे बच्चों की सहज क्षमताओं को बढ़ाना तब बहुत सारी चीज़ें हासिल की जा सकती हैं।


गतिविधि -

अपने समुदाय में कोई स्थानीय परियोजना शुरू करें। नीचे कुछ उदाहरण दिए गए हैं लेकिन कृपया इन तक सीमित न रहें -

  1. कोई पारिस्थितिकी परियोजना शुरू करें जैसे किसी ऐसे क्षेत्र में पेड़ लगाना जहाँ वनों की कटाई हो गई हो; किसी जलधारा, नदी या झील की सफ़ाई करनास्थानीय समुदायों में पुनर्चक्रण, यानी रीसाइक्लिंग, केंद्र और खाद सुविधाएँ स्थापित करना तथा लोगों को उनका उपयोग करने का प्रशिक्षण देना।
  2. कोई शैक्षिक परियोजना शुरू करें जैसे सुविधाहीन बच्चों को ब्राइटर माइंड्स कार्यक्रम सिखाना; किताबें इकट्ठा करना और बच्चों के लिए एक मोबाइल लाइब्रेरी स्थापित करना जहाँ कहानी सुनाने के लिए समय दिया जाता है। कला, संगीत या नृत्य कक्षाएँ आयोजित करना।
  3. कोई स्वास्थ्य परियोजना शुरू करें जैसे स्थानीय समूह के साथ मिलकर स्वास्थ्यवर्धक भोजन, अच्छी स्वच्छता, डिजिटल डिटॉक्स, नींद की सही आदतों को बढ़ावा देने के लिए काम करना।

ऐसे अन्य संगठनों के साथ भागीदारी करें जो ऐसी परियोजनाओं में रुचि रखते हैं। अपने संसाधनों को साझा करें और अधिकतम लाभ के लिए मिलकर काम करें। हम साथ मिलकर जो हासिल कर सकते हैं उसकी कोई सीमा नहीं है।

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दाजी

दाजी हार्टफुलनेसके मार्गदर्शक

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